सीएम 10 जून को शिपकी-ला से सीमा पर्यटन गतिविधियों का करेंगे शुभारंभ

इन क्षेत्रों में आने वाले पर्यटकों को अधिकारियों को आधार कार्ड दिखाना अनिवार्य होगा। इसके उपरांत वे इन क्षेत्रों के नैसर्गिक सौंदर्य को निहार सकेंगे।

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शिमला : मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू 10 जून, 2025 को किन्नौर जिला के शिपकी-ला से सीमा पर्यटन गतिविधियों का शुभारंभ करेंगे। मुख्यमंत्री इस अवसर पर सद्भावना साइकिल रैली को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे। राज्य सरकार ने रक्षा मंत्रालय से राज्य के सीमावर्ती क्षेत्र लेप्चा, शिपकी-ला, गिउ और रानी कंडा में पर्यटन गतिविधियों की अनुमति प्रदान करने का आग्रह किया था और इस संबंध में रक्षा मंत्रालय से स्वीकृति प्राप्त हुई है।

इन क्षेत्रों में आने वाले पर्यटकों को अधिकारियों को आधार कार्ड दिखाना अनिवार्य होगा। इसके उपरांत वे इन क्षेत्रों के नैसर्गिक सौंदर्य को निहार सकेंगे। सरकार की यह पहल सीमावर्ती क्षेत्रों में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा देने में कारगर साबित होंगी, जिससे स्थानीय लोगों की आर्थिकी सुदृढ़ होगी। इस संदर्भ में इस वर्ष 19 अप्रैल को सेना के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक बैठक आयोजित की गई थी।

मुख्यमंत्री ने मंगलवार को यहां सेना अधिकारियों और बीआरओ के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। उन्होंने अधिकारियों के साथ विभिन्न सीमा विकास परियोजनाओं की समीक्षा की और उन्हें इन परियोजनाओं में तेजी लाने के निर्देश दिए। ताकि सीमावर्ती क्षेत्रों में रहने वाले लोगों और सैन्य बलों को सर्वाेत्तम लाभ मिल सके।

मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी नई दिल्ली दौरे के दौरान वह केंद्र सरकार के समक्ष हिमाचल स्काउट बटालियन की स्थापना का मामला प्रस्तुत करेंगे। स्थानीय युवा क्षेत्र की भौगोलिक परिस्थितियों से भली-भांति परिचित हैं, इसलिए स्थानीय युवाओं का यह विशेष बल राज्य के सीमावर्ती क्षेत्रों में किसी भी स्थिति से निपटने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।

क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए स्पीति घाटी के रंगरीक में हवाई अड्डा स्थापित करने का मामला भी केंद्र के समक्ष प्रस्तुत किया जाएगा। उन्होंने क्षेत्र में चल रही विभिन्न सड़क परियोजनाओं पर विचार-विमर्श किया और बीआरओ को परियोजनाओं को पूरा करने में सरकार की ओर से पूर्ण सहयोग का आश्वासन दिया।

इस अवसर पर बागवानी मंत्री जगत सिंह नेगी, अतिरिक्त मुख्य सचिव केके पंत, मध्य कमान के मुख्य अभियंता जयचंद्रन, मुख्यमंत्री के ओएसडी गोपाल शर्मा, लोक निर्माण विभाग के प्रमुख अभियन्ता एनपी सिंह और सेना व बीआरओ के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी बैठक में उपस्थित थे।