राजगढ़ : हाटी विकास मंच ने प्रदेश सरकार से सोलन-मीनस सड़क वाया राजगढ़-हरिपुरधार-रोनहाट को राष्ट्रीय राजमार्ग (National Highway) का दर्जा देने या उसे प्रधानमंत्री गति शक्ति योजना में शामिल करने की मांग की है। मंच के अध्यक्ष प्रदीप सिंह सिंगटा और महासचिव डॉ. अनिल भारद्वाज ने इस मांग को लेकर उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान से मुलाकात कर उन्हें एक ज्ञापन सौंपा।
हाटी विकास मंच के अध्यक्ष प्रदीप सिंगटा ने बताया कि इस सड़क को हिमाचल के पहले मुख्यमंत्री डॉ. यशवंत सिंह परमार के नेतृत्व में 1958 से 1962 के बीच जनता के श्रमदान से बनाया गया था। आज भी ये सड़क मेजर डिस्ट्रिक्ट रोड की श्रेणी में है। उन्होंने कहा कि लगभग छह दशक बीत जाने के बाद भी इसका न तो सही ढंग से चौड़ीकरण हुआ और न ही आधुनिकीकरण।
सड़क की खराब हालत और संकरे मार्ग के कारण खासकर बरसात के मौसम में लगातार दुर्घटनाएं होती रहती हैं। ये सिरमौर जिले के तीन लाख से अधिक लोगों की जीवन रेखा है, जो इलाकों के ग्रामीणों लोगों को शिक्षा, स्वास्थ्य और आजीविका के साधनों से जोड़ती है।
सिंगटा ने बताया कि यह सड़क धार्मिक और पर्यटन के दृष्टिकोण से भी बेहद महत्वपूर्ण है, क्योंकि इसके माध्यम से हर साल लाखों श्रद्धालु और पर्यटक चूड़धार, मां भंगायणी मंदिर और श्री रेणुकाजी जैसे प्रमुख तीर्थ स्थलों तक पहुंचते हैं। इस सड़क का उन्नयन ट्रांसगिरि क्षेत्र के लिए एक क्रांतिकारी कदम साबित हो सकता है।
इसके साथ साथ यह उत्तराखंड के जौनसार-बाबर के आदिवासी समुदाय को भी लाभ पहुंचाएगा। मंच ने उम्मीद जताई कि सड़क के बेहतर होने से धार्मिक पर्यटन, स्थानीय व्यापार और कृषि को एक नई दिशा मिलेगी, जिससे क्षेत्र का सामाजिक और आर्थिक विकास सुनिश्चित होगा। उधर, मंत्री ने इस महत्वपूर्ण मुद्दे को केंद्र सरकार के समक्ष उठाने का आश्वासन दिया।
प्रतिनिधिमंडल में डॉ. अनिल भारद्वाज, वी.एन. भारद्वाज, एडवोकेट रविंद्र सिंह ठाकुर, विवेक तोमर, सतपाल चौहान, रोशन शर्मा, हितेंद्र ठाकुर, अनिल ठाकुर और सोबित ठाकुर शामिल रहे।