‘नमामि गंगे’ योजना से संवरेगा पांवटा साहिब का ‘गोविंद घाट’, उद्योग मंत्री ने सौंदर्यीकरण और निर्माण कार्य का लिया जायजा

हर्षवर्धन चौहान ने अधिकारियों और निर्माण एजेंसियों को दो-टूक निर्देश दिए कि कार्य की गुणवत्ता में कोई कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार इस परियोजना की स्वयं निगरानी कर रही है और इसे तय समय-सीमा के भीतर पूरा करने के लिए हर संभव सहायता उपलब्ध कराई जाएगी।

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पांवटा साहिब : हिमाचल प्रदेश के उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने सोमवार को पांवटा साहिब में यमुना नदी के तट पर स्थित ऐतिहासिक गोविंद घाट के निर्माण एवं सौंदर्यीकरण कार्यों का व्यापक निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने परियोजना की प्रगति का जायजा लिया और अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किए।

मीडिया से रूबरू होते हुए उन्होंने जानकारी दी कि इस महत्वाकांक्षी परियोजना को ‘नमामि गंगे’ योजना के तहत अमलीजामा पहनाया जा रहा है, जिस पर लगभग 29 करोड़ रुपये की भारी-भरकम राशि व्यय की जा रही है।

उद्योग मंत्री ने घाट के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि पांवटा साहिब में सभी धर्मों के श्रद्धालुओं की अपार आस्था है। ऐसे में गोविंद घाट का विकास उनकी सुविधाओं, सुरक्षा और क्षेत्र के समग्र विकास के लिए नितांत आवश्यक है।

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उन्होंने जोर देकर कहा कि इस परियोजना के पूर्ण होने से न केवल धार्मिक पर्यटन को नई ऊंचाइयां मिलेंगी, बल्कि पवित्र यमुना नदी के संरक्षण और इसकी स्वच्छता को भी काफी मजबूती मिलेगी।

निरीक्षण के दौरान उनके साथ स्थानीय प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी और ‘वैपकोस’ (WAPCOS) के प्रतिनिधि विशेष रूप से उपस्थित रहे। तकनीकी विशेषज्ञों ने मंत्री को परियोजना के विभिन्न पहलुओं और अब तक हुई प्रगति के बारे में विस्तार से अवगत कराया।

हर्षवर्धन चौहान ने अधिकारियों और निर्माण एजेंसियों को निर्देश दिए कि कार्य की गुणवत्ता में कोई कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार इस परियोजना की स्वयं निगरानी कर रही है और इसे तय समय-सीमा के भीतर पूरा करने के लिए हर संभव सहायता उपलब्ध कराई जाएगी।

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